विश्वप्रकाश कुर्रे मस्तूरी – बिलासपुर जिले के सबसे चर्चित मस्तुरी सीट से इस बार नए चेहरे को मौका मिल सकता है, या फिर पुराने चेहरे पर ही भाजपा दांव खेलेगी यह दिलचस्प सवाल लोगों के जेहन में है सूत्रों के हवाले से बड़ी खबर सामने आई है, जिसके मुताबिक, विधानसभा कोर ग्रुप की बैठक में पुराने नामों पर सहमति नहीं बन सकी पुराने नामों को लेकर कुछ लोगों ने कड़ी आपत्ति जताई। हालांकि शीर्ष नेताओं के निर्देश पर उनके नाम पैनल में शामिल करने की खबर है लेकिन इस बार मस्तुरी सीट से नए चेहरे को मौका दिए जाने की मांग जोरों पर है।
आप को बता दे की मस्तूरी विधानसभा मे भाजपा प्रत्याशी को लेकर एक जंग सी छिड़ गई है लगातार नए चेहरे की मांग को लेकर मल्हार भाजपा मंडल मे भी पर्यवेक्षक के सामने भी बहुत विरोध दर्ज हुआ उसके बाद भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष ( बिलासपुर सांसद ) अरुण साव के निवास पहुंचकर भी कड़ी विरोध दर्ज किया गया । अब ऐसे मे देखने वाली बात है की अगर पुराने चेहरे को टिकट मिलती है तो क्या पार्टी को सफलता मिलेगी ये सोचने वाली बात है।
प्रत्याशी चयन के लिए इस बार भाजपा ने नए चेहरों को शामिल किया हैं। क्षेत्रों से नए चहरे की मांग जोरो पर है। भाजपा *एक ही चेहरे* को यहां से बार-बार अपना उम्मीदवार बना रही है, जिससे आमजन भी पूरी तरह उब गए हैं। जनता भी चाहती है कि किसी नए व योग्य उम्मीदवार को मौका दे,जो लोगों की दुख दर्द को समझते हुए सदैव उनकी सेवा में तत्पर रहे। इन सबके बावजूद भी यदि प्रत्याशी चयन में *भाजपा* जरा सी भी चूक करती है तो उन्हें खामियाजा भुगतना पड़ सकता है।
जब इसकी जानकारी भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष अरुण साव ( बिलासपुर सांसद ) के निवास पहुंच कर लिया गया तोभाजपा प्रदेश अध्यक्ष अरुण साव ने कहा की जो भी जानकारी हमें मिल रही है हम उसे सुन रहे है, बाकी पार्टी तय करेगी की टिकट किसे मिलना चाहिए।
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