दीपक पुड़ो छत्तीसगढ़ समाचार TV- बाबा साहेब डॉ. भीमराव अम्बेडकर के 132 वीं जयंती का आयोजन रामप्रसाद पोटाई कृषि महाविद्यालय एवं अनुसंधान केन्द्र, सिंगार भाट कांकेर में किया गया। इस अवसर पर अधिष्ठाता डॉ. एन. के. रस्तोगी के मार्गदर्शन में प्रभारी अधिष्ठाता डॉ. प्रमोद कुमार नेताम एवं समस्त प्राध्यापक गण सहित विद्यार्थी उपस्थिति थे।
कार्यक्रम में बाबा साहेब की जीवनी तथा राष्ट्र एवं संविधान निर्माण में अतुलनीय योगदान को याद करते हुए सभी प्राध्यापक एवं विद्यार्थियों द्वारा अपने विचार प्रस्तुत किये। चतुर्थ वर्ष के विद्यार्थी गुरूचरण द्वारा बाबा साहेब के जीवनी के संबंध में अपने विचार प्रस्तुत किया गया। अतिथि शिक्षिका अंशुमाला कुजुर द्वारा डॉ अम्बेडकर के विचार शिक्षा ही एक माध्यम है, जिसके द्वारा समाज में सकारात्मक परिवर्तन लाया जा सकता है। निशा ठाकुर ने संविधान में किये गये कार्य के बारे में बताया तथा विद्यार्थियों को बाबा साहेब से प्रेरणा लेने का सुझाव दिया। जागृती नागवंशी ने बाबा साहेब द्वारा महिला शिक्षा एवं महिला सशक्तिकरण में योगदान के बारे में बताया। सहायक प्राध्यापक अनिल कुमार नेताम ने बाबा साहेब के द्वारा किये गये संघर्ष, उनकी शिक्षा,, राष्ट्र निर्माण, संविधान निर्माण एवं सामाजिक कार्य के बारे में बताया। सहायक प्राध्यापक गंगाधर ने बाबा साहेब के विचारों को विद्यार्थियों से अनुसरण करने के लिये कहा। डॉ. फुल सिंह मरकाम द्वारा बाबा साहेब की तरह विषम परिस्थिति का निडरता से सामना करने तथा ऊर्जावान रहने के लिए विद्यार्थियों को प्रेरित किया। प्रभारी अधिष्ठाता डॉ. प्रमोद कुमार नेताम सह प्राध्यापक द्वारा बाबा साहेब को एक समाज सुधारक एवं आदर्श व्यक्तित्व के धनी के रूप में बताया मानव के सर्वांगीण विकास करने में शिक्षा ही एक ऐसा माध्यम है, जो मानव विकास में सार्थक होता है। विद्यार्थियों में शिक्षा के साथ-साथ व्यवहारिक ज्ञान पर विशेष ध्यान देने की बात कही। व्यक्ति को अपनी जिम्मेदारी से भागने के स्थान पर अपने कर्तव्य का ईमानदारी से निर्वहन करने की बात कही। कार्यक्रम में संचालन अतिथि शिक्षक डॉ. होमेन्द्र सिवाना द्वारा किया गया।